प्रमोद कुमार शर्मा
दिल्ली
यह स्पेशल तीर्थ यात्रा दिल्ली एयरपोर्ट से 13 फरवरी 2025 प्रारम्भ होगी
दिल्ली से फ्लाईट द्वारा हेदराबाद के लिए प्रस्थान (रात्रि हेदराबाद में)
मल्लिकार्जुन ज्योर्तिलिंग दर्शन । (रात्रि मल्लिकार्जुन में)
तिरुमला मन्दिर पहाड़ी पर स्थित है। दर्शन के लिए यात्री अपने साथ में ओरिजिनल आधार कार्ड साथ लावें। स्थानीय बसद्वाराव रात्रि तिरुपति
श्री लक्ष्मी नारायण मन्दिर (स्वर्ण मन्दिर) । (रात्रि पॉन्डिचेरी)
पॉन्डिचेरी अरविन्द आश्रम, पॉन्डिचेरी बीच। (छठावां दिन रास्ते में व रात्रि रामेश्वरम् में ।)
समुद्र स्नान, राम-सीता कुण्ड, राम झरोखा मन्दिर दर्शन, 22 कुण्ड | स्नान, रामेश्वरम् ज्योर्तिलिंग, धनुषकोटि । (रात्रि रामेश्वरम् में)
कन्याकुमारी मन्दिर दर्शन, सूर्य उदय अथवा सूर्य अस्त के दर्शन, हिन्द बंगाल, अरब तीनों समुद्रों का संगम स्नान, विवेकानन्द स्मारक । (रात्रि विश्राम कन्याकुमारी में)
तिरुवनन्तपुरम चिड़ियाघर, पद्मनाभम् मन्दिर, कोवलम बीच। (रात्रि विश्राम कन्याकुमारी में)
मीनाक्षी देवी मन्दिर, सुन्दरेश्वर महादेव दर्शन (रात्रि कोयंबटूर)
बोटेनिकल गार्डन, टेलिस्कोप, ऊटी झील आदि। (रात्रि ऊँटी)
राजमहल, चामुण्डा देवी मन्दिर, वृन्दावन गार्डन। (रात्रि मैसूर)
बैंगलोर से फ्लाईट द्वारा दिल्ली के लिए प्रस्थान व यात्रा समापन ।
भोजन, चाय, नाश्ता, A/C पुशबेक डीलक्स बस, A/C डबल बैड होटल रूम, हवाई जहाज ( दिल्ली से हेदराबाद व वापसी बैंगलोर से दिल्ली ) द्वारा का किराया ₹46,000/- प्रति सवारी होगा। अग्रिम बुकिंग हेत ₹5,000/- प्रति यात्री नगद अथवा ऑनलाइन 'श्री शिव शंकर तीर्थ यात्रा' ऋषिकेश के SBI बैंक खाते में जमा करवा दें। शेष धनराशि यात्रा से पूर्व ली जायेगी । A/C सुविधा केवल चलती बस में रहेगी पार्किंग में खड़ी बस में यह सुविधा नहीं होगी। कृपया फ्लाईट यात्रा के नियम पेज न0 23 को ध्यान पूर्वक पढ़ कर ही सीट बुक कराये ।
नोट: मनोकामना रोप-वे का खर्चा स्वयं यात्री का होगा।
यात्रियों के लिए यात्राकाल में सुबह की चाय, नाश्ता, दोपहर व रात्रि भोजन में एक दाल, एक सब्जी, चावल, रोटी का पूरा प्रबन्ध होगा। शाम को चाय दी जायेगी। दाल-चावल, रोटी में देशी घी का प्रयोग होगा। सब्जी व नाश्ते में रिफान्इड तेल का प्रयोग होगा। समय की उपलब्धता के आधार पर यात्रियों को पापड़ व अचार भी भोजन के साथ दिया जायेगा। प्याज-लहसुन का प्रयोग पूर्णतः वर्जित होगा। भोजन शुद्ध शाकाहारी सात्विक बनाया जायेगा। यात्रा के दौरान तवा चपाती बनायी जायेगी व समय की उपलब्धता के अनुसार पूड़ी, पराठें व खिचड़ी भी बनायी जायेगी तथा यात्रा में समय अनुसार लंच पैकेट भी दिया जाएगा। रेल द्वारा लम्बी दूरी की यात्रा के दौरान भोजन की व्यवस्था आई. आर. सी. टी. सी. के अधिकृत भोजनालय से की जायेगी। दोपहर एवं रात्रि भोजन के साथ एक-एक मिनरल वाटर की बोतल यात्रियों को दी जायेगी।
रात्रि विश्राम के लिए होटल का प्रबन्ध समस्त यात्रियों के लिए डबल बैड के अटैच लैट-बाथरूम कमरों में किया जाएगा। यात्री अपने साथ असली फोटो पहचान पत्र (आधार कार्ड, वोटर आई. डी.) व 1 पासपोर्ट साईज फोटो अवश्य साथ लावे।
फ्लाइट मे यात्रि अपने पावर बैंक को हैंड बैग में ही रखे । कैंची, नेल कटर, चाकू आदि तरह का सामान फ्लाइट में ना लेकर जाये। यात्रा में फ्लाइट के नियम के अनुसार प्रत्येक यात्री अपने साथ 15 किलो तक का एक सूटकेस या बैग जोकि चेक इन बैगेज में जायेगा और 7 किलो तक का एक बैग हैंड बैगेज में लेके जा सकते हैं। 3. यात्रियों के प्लेन के बोर्डिंग पास प्लेन में बैठने के 12 घंटे पहले यात्री को व्हाट्सएप पर भेज दिया जाएगा। यात्री अपने प्लेन की टिकट पर दिए गए टर्मिनल पर फ्लाइट उड़ने के समय से 3 घंटा पूर्व डिपार्चर गेट के सामने संस्था के प्रतिनिधि से मिले।
यात्रा बुक होने के बाद यात्री अपनी सीट कैंसिल करवाता है तो अग्रिम धनराशि वापिस नहीं की जायेगी। दर्शनीय स्थलों का प्रवेश शुल्क यात्रियों द्वारा वहन किया जायेगा।
हमारी यात्रा में अकेले वृद्धजन व महिलाएं भी आराम से यात्रा कर सकती हैं। क्योंकि यात्रा का माहौल घर-परिवार जैसा ही रहता है जिस कारण अकेलापन महसूस नहीं होगा।
यात्रियों को निम्नलिखित नियमों का पालन करना अनिवार्य होगा।
यात्रा काल के दौरान आर्थिक, शारीरिक क्षति एवं यात्री के सामान की जिम्मेदारी यात्री की स्वयं की होगी। व्यवस्थापक यात्रियों के नुकसान का जिम्मेदार नहीं होगा। फ्लाइट और रेल के नियमों का पालन करें।
यात्री को आवश्यकता पड़ने पर यात्री अपने खर्चे पर अस्पताल/डाक्टर की व्यवस्था अपनी सुविधानुसार कर सकते हैं। प्रत्येक यात्री टाईम टेबल के अनुसार चलने को बाध्य होंगे, यदि किसी कारणवश कोई ग्रुप से अलग होता है तो अगले स्टेशन/ गन्तव्य पर यात्री अपने खर्चे पर पहुंचेगें। सभी बसे दर्शनीय स्थलो की पार्किंग तक जाएगी वहा से मन्दिरों की दूरी नगण्य है इसलिए यात्री (स्वयं के खर्च से) पैदल अथवा रिक्शे से वहाँ जा सकते हैं। इस प्रकार यात्रियों को पैदल कम चलना पड़ेगा।
यदि कोई यात्री किन्हीं कारणवश अथवा अस्वस्थ होने की वजह से अपनी यात्रा अधूरी छोड़कर घर वापिस आना चाहेगा तो्र उस अवस्था में यात्री को व्यवस्थापक की तरफ से केवल घर तक पहुंचाने हेतु रेलवे का स्लीपर क्लास का टिकिट ही दिया जायेगा। यह व्यवस्था भी केवल यात्रा समाप्ति के 5 दिन पूर्व तक लागू होगी। किराया वापसी किसी भी अवस्था में देय नहीं होगा।
यात्रा में फ्लाइट लेट होने / बस खराब होने/ मौसम खराब होने/साप्ताहिक अवकाश/ बन्द/ रैली आदि के कारण सें किसी स्थान पर दर्शन ना होने पर संस्था/ व्यवस्थापक द्वारा कार्यक्रम में जो भी बदलाव किया जायेगा, यात्रियों से निवेदन है कि परिस्थतियों को समझते हुए उसमें अपना पूर्ण सहयोग प्रदान करें।
यात्रा काल में मैनेजर यात्रियों को अधिक से अधिक सुविधा देने की कोशिश करेंगे परन्तु फिर भी यात्रा के दौरान थोड़ी असुविधा होना स्वाभाविक है। उस समय ‘परदेश नरेश कलेशन’ की कहावत के अनुसार तपस्या की भावना से उसे सहन करें व व्यवस्थापक को पूर्ण सहयोग प्रदान करें।
यात्रा विवरण
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फ्लाईट द्वारा रामेश्वरम् धाम, पॉन्डिचेरी, तिरुपति, त्रिवेन्द्रम कन्याकुमारी, ऊटी, मैसूर यात्रा एक अद्वितीय अनुभव था। यात्रा ने विभिन्न धार्मिक स्थलों और प्राकृतिक सुंदरता का आदर्श मिश्रण प्रस्तुत किया। रामेश्वरम् के भव्य मंदिर से लेकर कन्याकुमारी की शांतिपूर्ण समुद्र तटों तक, हर क्षण रोमांचक और अविस्मरणीय था। शिवशंकर तीर्थ यात्रा के साथ इन प्रमुख स्थलों की खोज करें।
फ्लाईट द्वारा रामेश्वरम् धाम, पॉन्डिचेरी, तिरुपति, त्रिवेन्द्रम कन्याकुमारी, ऊटी, मैसूर यात्रा एक अविस्मरणीय अनुभव था। यह यात्रा विभिन्न धार्मिक स्थलों, भव्य मंदिरों और प्राकृतिक सुंदरता का बेहतरीन मिश्रण पेश करती है। रामेश्वरम् के पवित्र स्थल से लेकर कन्याकुमारी की शांतिपूर्ण समुद्र तटों और ऊटी के पहाड़ी दृश्य तक, हर कदम पर एक नया आश्चर्य था। शिवशंकर तीर्थ यात्रा के साथ इन प्रसिद्ध स्थलों का अन्वेषण करें।
मैंने शिवशंकर तीर्थ यात्रा के फ्लाईट टूर पैकेज के साथ रामेश्वरम् धाम, पॉन्डिचेरी, तिरुपति, त्रिवेन्द्रम कन्याकुमारी, ऊटी और मैसूर यात्रा में शानदार समय बिताया। इस यात्रा ने विभिन्न धार्मिक स्थलों, पवित्र मंदिरों और प्रकृति के अद्भुत दृश्यावलियों का बेहतरीन मिश्रण प्रस्तुत किया। रामेश्वरम् के मंदिर से लेकर कन्याकुमारी के शांतिपूर्ण समुद्र तटों और ऊटी की खूबसूरती तक, यह यात्रा सच में अविस्मरणीय थी। शिवशंकर तीर्थ यात्रा के साथ इन प्रसिद्ध स्थलों का अनुभव करें।
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